छत्तीसगढ़

सुहागिन महिलाओं ने की वट सावित्री की पूजा

बिलासपुर । गुरुवार को देशभर के साथ बिलासपुर और रतनपुर में भी वट सावित्री पूजन को सुहागिन महिलाओं ने हर्षोल्लास के साथ मनाया।इस अवसर पर सुबह से ही महिलाए हाथो में पूजन सामग्री लिए वट वृक्ष के नीचे पहुंचती रही।जहा विधि विधान से पूजा अर्चना कर भगवान विष्णु से परिवार और सुहाग के लिए सुख समृद्धि की कामना की। हिंदू धर्म में ज्येष्ठ अमावस्या बहुत शुभ मानी जाती है, क्योंकि इस तिथि पर शनि जयंती और वट सावित्री व्रत होता है वहीं, वट सावित्री का व्रत सुहागन महिलाओं के लिए बहुत खास होता है। शास्त्रों में कहा गया है कि वट वृक्ष में ब्रह्मा, विष्णु और महेश तीनों देवता निवास करते हैं. इस व्रत को करके महिलाएं तीनों देवों से अपने पति की लंबी उम्र का वरदान मांगती है। वैसे भी रतनपुर को धार्मिक नगरी माना जाता है यही वजह है कि यहां हर धार्मिक आयोजनों को उत्साह के साथ मानते हैं।ऐसे में गुरुवार को इस दिन महिलाओं में पूजा अर्चना कर पति के दीर्घायु की कामना की
धार्मिक नगरी रतनपुर में आज वट सावित्री व्रत पूजा के उपलक्ष में नगर की सभी सुहागिन महिलाएं सोलह सिंगार से युक्त दमकते रूप में आज वट सावित्री पूजा करने के लिए बरगद के पेड़ के नीचे इक_ा हुए, और अपने पति के दीर्घायु व उत्तम स्वास्थ्य तथा सुख समृद्धि की कामना के साथ हाथ में पूजा की थाली लिए हुए अखंड सौभाग्य के खातिर यह वट सावित्री व्रत की विधि विधान से पूजा अर्चना की, इस पूजा में वट वृक्ष के नीचे यमराज सावित्री और सत्यवान की मूर्ति स्थापित करके हाथ में जल, फूल ,अक्षत ,मौली धागा ,रक्षा सूत्र व भिगोए हुए चने तथा धूप दीप आदि अर्पित किए, उसके बाद सभी सुहागिन महिलाएं वटवृक्ष में मौली धागा लपेटते हुए 108 बार परिक्रमा किए तथा वटवृक्ष की तरह अपने पति के अटल, अजर ,अमर रहने की कामना की और परिक्रमा के बाद हाथ में भीगे हुए चने को लेकर सावित्री और सत्यवान की कथा का श्रवण किये।

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